केंद्र की नीति का पालन हो, कोविड टीके के लिए आधार अनिवार्य नहीं : सुप्रीम कोर्ट

 

नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को कोविड टीकाकरण से संबंधित सभी अधिकारियों को केंद्र की नीति का पालन करने और वैक्सीन लगाने के लिए आधार कार्ड पर जोर नहीं देने का निर्देश दिया। जस्टिस डी.वाई. चंद्रचूड़ और सूर्यकांत सिद्धार्थ शंकर शर्मा द्वारा अधिवक्ता मयंक क्षरीसागर के माध्यम से दायर एक याचिका पर सुनवाई कर रहे थे, जिसमें अधिकारियों को यह निर्देश देने की मांग की गई है कि वे टीके लगाने के लिए पहचान के एकमात्र प्रमाण के रूप में आधार कार्ड पर जोर न दें।
केंद्र के वकील ने पीठ को सूचित किया कि चल रहे टीकाकरण अभियान में 87 लाख लोगों को बिना किसी पहचानपत्र के टीका लगाया गया है। पीठ ने कहा कि केंद्र का हलफनामा यह स्थापित करता है कि कोविन पोर्टल पर पंजीकरण के लिए आधार कार्ड अनिवार्य नहीं है और नौ दस्तावेजों में से किसी एक, जिसमें पैन कार्ड, पासपोर्ट आदि शामिल हैं, पंजीकरण के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है। स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने अपने हलफनामे में कहा, “विनम्रतापूर्वक प्रस्तुत किया जाता है कि कोविन पोर्टल पर लाभार्थी के पंजीकरण के लिए आधार कार्ड अनिवार्य नहीं है।” याचिकाकर्ता ने यह दावा करते हुए शीर्ष न्यायालय का रुख किया है कि आधार कार्ड न होने के कारण उसे टीकाकरण से वंचित कर दिया गया था।

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